सूबे मुखिया योगी आदित्यनाथ ने अब जल जीवन मिशन के तहत निर्माणाधीन पाइप पेयजल योजनाओं की गुणवत्ता और समयबद्धता को प्राथमिकता देते हुए लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ बड़ा एक्शन लिया है.
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सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति के तहत बीते चार वर्षों में 183 अफसरों-कर्मचारियों पर सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई है. इनमें से 122 अधिकारियों पर जांच बैठाई गई है और 55 को प्रतिकूल प्रविष्टि दी गई है, जबकि 6 को ससपेंड कर दिया गया है.जल जीवन मिशन के कार्यों की गुणवत्ता को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पूरी तरह से गंभीर हैं. उन्होंने स्पष्ट कर दिया है कि योजनाओं में किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. मिशन के अंतर्गत कार्यों की नियमित निगरानी और मूल्यांकन के आधार पर दोषी पाए गए अधिकारियों और कर्मचारियों पर एक्शन लिया जा रहा है.सीएम योगी आदित्यनाथ ने साफ तौर पर कहा कि प्रदेश में विकास योजनाओं में लापरवाही बरतने वालों को किसी कीमत पर बख्शा या छोड़ा नहीं जाएगा. सरकार का लक्ष्य है कि प्रदेश के हर घर तक समय पर और शुद्ध जल पहुंचे. इस दिशा में राज्य सरकार पूरी पारदर्शिता और प्रतिबद्धता के साथ काम कर रही है. प्रदेश के लोगों के विकास के लिये सरकार लगातार काम कर रहीं है .