उत्तर प्रदेश कैबिनेट की बैठक में कई अहम प्रस्तावों पर सहमति बनी। इन प्रस्तावों से प्रदेश के विकास और बुनियादी ढांचे में सुधार की उम्मीद है।
गृह विभाग
- अभियोजन निदेशालय की स्थापना: भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 20 के तहत अभियोजन निदेशालय की स्थापना के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।
नगर विकास विभाग
- म्युनिसिपल बॉन्ड जारी करने की स्वीकृति: प्रयागराज, वाराणसी और आगरा नगर निगमों के लिए म्युनिसिपल बॉन्ड जारी करने और अवस्थापना विकास निधि से क्रेडिट रेटिंग सुधारने के लिए धनराशि उपलब्ध कराने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।
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व्यावसायिक शिक्षा एवं कौशल विकास विभाग
- औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों का उन्नयन:
- टाटा टेक्नोलॉजी लिमिटेड (TTL) के सहयोग से 62 राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों का उन्नयन।
- 5 नए सेंटर फॉर इनोवेशन, इन्वेंशन, इन्क्यूबेशन और ट्रेनिंग (CIIIT) की स्थापना।
चिकित्सा शिक्षा विभाग
- हाथरस, बागपत, और कासगंज में PPP मॉडल पर मेडिकल कॉलेज संचालित करने के प्रस्ताव को मंजूरी।
- बलरामपुर में 166 बेडेड राजकीय संयुक्त चिकित्सालय को चिकित्सा शिक्षा विभाग को स्थानांतरित कर KGMU सेटेलाइट सेंटर को स्वशासी मेडिकल कॉलेज में परिवर्तित करने की अनुमति।

औद्योगिक विकास विभाग
- स्वामी विवेकानंद युवा सशक्तिकरण योजना के तहत मुफ्त स्मार्टफोन वितरण के अंतिम बिड प्रस्ताव को मंजूरी।
- मेगा औद्योगिक इकाइयों के लिए विशेष सुविधाओं को मंजूरी।
- FDI और फॉर्च्यून 500 कंपनियों के निवेश प्रोत्साहन के तहत अशोक लीलैंड लिमिटेड को भूमि आवंटन में सब्सिडी की स्वीकृति।
- उत्तर प्रदेश एयरोस्पेस और रक्षा इकाई प्रोत्साहन नीति 2024 को मंजूरी।

प्रयागराज और काशी के विशेष विकास प्रस्ताव
- प्रयागराज-चित्रकूट डेवेलपमेंट रीजन को SCR की तर्ज पर विकसित करने का प्रस्ताव।
- गंगा एक्सप्रेसवे का विस्तार प्रयागराज से मिर्जापुर, भदोही, वाराणसी, चंदौली और गाजीपुर तक।
- चित्रकूट से प्रयागराज के बीच गंगा एक्सप्रेसवे को बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे से जोड़ने की स्वीकृति।
- यमुना नदी पर सिग्नेचर ब्रिज के समानांतर एक नया पुल बनाने का प्रस्ताव।
- सलोरी और झूंसी के बीच फोर लेन ब्रिज की मंजूरी।
ये सभी प्रस्ताव उत्तर प्रदेश के बुनियादी ढांचे और क्षेत्रीय विकास को नई ऊंचाई पर ले जाने में सहायक होंगे।